SHIV CHALISA LYRICS FUNDAMENTALS EXPLAINED

shiv chalisa lyrics Fundamentals Explained

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शिव को भस्म क्यों चढ़ाई जाती है, जानिए यहां भस्म आरती के राज

अर्थ- पवित्र मन से इस पाठ को करने से भगवान शिव कर्ज में डूबे को भी समृद्ध बना देते हैं। यदि कोई संतान हीन हो तो उसकी इच्छा को भी भगवान शिव का प्रसाद निश्चित रुप से मिलता है।

तुह्मरे भजन राम को पावै। जनम जनम के दुख बिसरावै।।

देवन जबहीं जाय पुकारा। तब ही दुख प्रभु आप निवारा॥

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अंग गौर शिर गंग बहाये। मुण्डमाल तन छार लगाये॥

द्वादश ज्योतिर्लिंग मंत्र

नित्त नेम कर प्रातः ही, पाठ करौं चालीसा।

अर्थ: हे अनंत एवं नष्ट न होने वाले अविनाशी more info भगवान भोलेनाथ, सब पर कृपा करने वाले, सबके घट में वास करने वाले शिव शंभू, आपकी जय हो। हे प्रभु काम, क्रोध, मोह, लोभ, अंहकार जैसे तमाम दुष्ट मुझे सताते रहते हैं। इन्होंनें मुझे भ्रम में डाल दिया है, जिससे मुझे शांति नहीं मिल पाती। हे स्वामी, इस विनाशकारी स्थिति से मुझे उभार लो यही उचित अवसर। अर्थात जब मैं इस समय आपकी शरण में हूं, मुझे अपनी भक्ति में लीन कर मुझे मोहमाया से मुक्ति दिलाओ, सांसारिक कष्टों से उभारों। अपने त्रिशुल से इन तमाम दुष्टों का नाश कर दो। हे भोलेनाथ, आकर मुझे इन कष्टों से मुक्ति दिलाओ।

द्वादश ज्योतिर्लिंग मंत्र

प्रणवाक्षर मध्ये ये तीनों एका ॥ ॐ जय शिव…॥

बुद्धिहीन तनु जानिके, सुमिरौं पवन-कुमार। बल बुधि बिद्या देहु मोहिं, हरहु कलेस बिकार।।

मात-पिता भ्राता सब होई। संकट में पूछत नहिं कोई॥

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